जब यशस्वी जायसवाल ने अरुण जेटली स्टेडियम में 175 रन बनाए, तो सबने सोचा कि यह एक बड़ी पारी है। लेकिन जब वे एक रन चुराने के लिए दौड़े और शुभमन गिल के साथ गलतफहमी से रन आउट हो गए, तो मैदान पर गुस्से की चीख निकली। लेकिन उसी दिन, एक और बड़ी बात हुई—मोहम्मद कैफ ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट डाली, जिसमें दावा किया कि यशस्वी ही वीरेंद्र सहवाग का टेस्ट क्रिकेट में 300 रन का रिकॉर्ड तोड़ेंगे। ये बात सिर्फ एक आशा नहीं, बल्कि एक विश्लेषण है—जिसे क्रिकेट दुनिया अब सीरियसली ले रही है।
एक ऐसा बल्लेबाज, जिसकी शुरुआत सचिन और विराट जैसी है
कैफ ने अपने पोस्ट में सीधे तौर पर कहा कि यशस्वी के पहले 26 टेस्ट मैचों के आंकड़े सचिन तेंदुलकर और विराट कोहली के बराबर हैं। ये बात किसी भी युवा बल्लेबाज के लिए असंभव लगती है। लेकिन यशस्वी ने इसे साबित कर दिया है। 23 साल की उम्र में वे टेस्ट क्रिकेट में सात शतक बना चुके हैं। और ये सिर्फ शतक नहीं—हर शतक टीम को जीत की ओर ले गया है। कैफ ने खास तौर पर उनकी स्ट्राइक रेट की तारीफ की: उनका औसत स्ट्राइक रेट 70 के आसपास है, जो आधुनिक क्रिकेट की जरूरतों के बिल्कुल अनुकूल है। ये नहीं कि वे धीमे हैं—बल्कि वे जहां जरूरत है, वहां तेज़ हैं।
300 रन का रिकॉर्ड: कौन बना चुका है?
भारतीय टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में केवल दो बल्लेबाजों ने तिहरा शतक बनाया है—वीरेंद्र सहवाग और करुण नायर। सहवाग ने 2004 में पाकिस्तान के खिलाफ 309 और 2008 में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ 319 रन बनाए। ये रिकॉर्ड अब 17 साल पुराना है। करुण नायर का 300 रन का स्कोर 2016 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ आया था, लेकिन उनकी पारी एक बार की थी। यशस्वी के लिए ये लक्ष्य संभव है—क्योंकि उन्होंने पहले भी एक दोहरा शतक जड़ा है। और वो भी एक ऐसे मैच में जहां टीम को बचाना था।
गलतफहमी ने रोक दी पारी, लेकिन नहीं रोकी भविष्य
11 अक्टूबर 2025 को जायसवाल की पारी का अंत एक अजीब तरीके से हुआ। वे दोहरा शतक के बहुत करीब थे। एक रन के लिए दौड़े, गिल को रन का संकेत दिया, लेकिन गिल नहीं आए। बैटमैन बाहर निकल गए। फिर उनका गुस्सा—हाथों से सिर पर जोर से मारा, बैट को जमीन पर फेंका। लेकिन ये गुस्सा उनकी अंदरूनी लगन का संकेत है। उनका दिल बड़ा चाहता है। उनके लिए सिर्फ 175 रन नहीं, 300 रन चाहिए। और इसी दिन, कैफ ने ये बात बोल दी।
क्यों ये भविष्यवाणी इतनी अहम है?
मोहम्मद कैफ की भविष्यवाणियां कभी बेकार नहीं होतीं। वे खिलाड़ी हैं, जिन्होंने खुद दुनिया के सबसे बड़े बल्लेबाजों के साथ खेला है। उनका नजरिया आंकड़ों से नहीं, बल्कि अनुभव से चलता है। उन्होंने देखा है कि कैसे तेंदुलकर ने दबाव में शतक बनाए, कैसे कोहली ने दूसरे दिन भी बल्ला चलाया। यशस्वी में वही जुनून है। और अब वे टेस्ट क्रिकेट में सबसे तेज़ शतक बनाने वाले भारतीय बल्लेबाजों में शामिल हो चुके हैं।
अगला कदम: वेस्टइंडीज के खिलाफ तीसरा टेस्ट
भारत और वेस्टइंडीज के बीच ये टेस्ट सीरीज 11 से 15 अक्टूबर 2025 तक अरुण जेटली स्टेडियम में खेली जा रही है। दूसरे टेस्ट में भारत ने मजबूत स्थिति बना ली है। शुभमन गिल ने 129 रनों की नाबाद पारी खेली, जबकि रवींद्र जडेजा ने 3 विकेट (3/37) और कुलदीप यादव ने 1 विकेट (1/45) लिया। अगर तीसरा टेस्ट भी इसी तरह चला, तो यशस्वी के लिए एक और अवसर आ जाएगा। और अगर वे फिर से 150+ रन बना दें, तो तिहरा शतक का सपना सच हो सकता है।
क्या यशस्वी को दबाव महसूस हो रहा है?
जायसवाल के लिए दबाव बढ़ रहा है। अब वे सिर्फ एक बल्लेबाज नहीं—वे एक उम्मीद हैं। एक ऐसी उम्मीद जिसे लोग सचिन या विराट के साथ तुलना करने लगे हैं। लेकिन यशस्वी ने अब तक कभी दबाव में नहीं झुका। उनकी बैटिंग बाहरी दबाव से नहीं, बल्कि अंदरूनी आत्मविश्वास से चलती है। उनके शॉट्स बिना किसी डर के निकलते हैं। और यही बात उन्हें वीरेंद्र सहवाग जैसा बना रही है।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
क्या यशस्वी जायसवाल वाकई सहवाग का रिकॉर्ड तोड़ सकते हैं?
हां, संभावना बहुत अधिक है। यशस्वी ने 23 साल की उम्र में सात टेस्ट शतक बना लिए हैं और पहले भी एक दोहरा शतक जड़ चुके हैं। उनकी स्ट्राइक रेट और निरंतरता को देखते हुए, अगर वे किसी मैच में 400 गेंदों तक बल्लेबाजी करें, तो 300 रन बनाना संभव है। वीरेंद्र सहवाग का रिकॉर्ड 17 साल पुराना है—अब इसका इंतजार खत्म हो सकता है।
मोहम्मद कैफ की भविष्यवाणी कितनी सटीक होती है?
कैफ की भविष्यवाणियां अक्सर सच साबित होती हैं। उन्होंने पहले भी विराट कोहली को भविष्य का कप्तान बताया था, और वही हुआ। उनका विश्लेषण आंकड़ों पर नहीं, बल्कि खिलाड़ियों की मानसिकता और खेल के अंदाज़ पर आधारित होता है। यशस्वी की शुरुआती पारियों को देखकर उन्होंने ये निष्कर्ष निकाला है—और वह निष्कर्ष बहुत गहरा है।
भारत में अब तक कितने बल्लेबाजों ने तिहरा शतक बनाया है?
भारतीय टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में केवल दो बल्लेबाजों ने तिहरा शतक बनाया है—वीरेंद्र सहवाग (309, 2004; 319, 2008) और करुण नायर (300, 2016)। यशस्वी जायसवाल तीसरे बल्लेबाज बनने की ओर बढ़ रहे हैं। अगर वे इस सीरीज में या अगले टेस्ट में 300 रन बना दें, तो वे भारत के लिए दूसरे बल्लेबाज बन जाएंगे जिन्होंने एक से अधिक तिहरा शतक बनाया है।
यशस्वी की पारी क्यों इतनी महत्वपूर्ण है?
क्योंकि वे आधुनिक क्रिकेट के अनुकूल बल्लेबाज हैं—तेज़ स्ट्राइक रेट के साथ, लंबी पारियां खेलने की क्षमता रखते हैं, और दबाव में भी खेल सकते हैं। उनकी शतकीय पारियां अक्सर टीम को जीत की ओर ले जाती हैं। ये गुण भारत के लिए अब बहुत जरूरी हैं, जहां टेस्ट क्रिकेट में निरंतरता की कमी है।
क्या यशस्वी के लिए अब दबाव बढ़ गया है?
जी हां, बहुत बढ़ गया है। अब उनकी तुलना सचिन और विराट से हो रही है। लेकिन यशस्वी ने अब तक कभी इस दबाव के आगे झुकने का नाम नहीं लिया। उनकी बैटिंग अपने अंदर के आत्मविश्वास से चलती है, बाहरी उम्मीदों से नहीं। अगर वे इसी तरह खेलते रहे, तो दबाव उनकी ताकत बन जाएगा।
अगला टेस्ट मैच कब है और कहाँ?
भारत और वेस्टइंडीज के बीच तीसरा और अंतिम टेस्ट मैच 15 अक्टूबर 2025 को अरुण जेटली स्टेडियम, नई दिल्ली में खेला जाएगा। अगर भारत ने दूसरे मैच में जीत दर्ज कर ली है, तो यह मैच टेस्ट सीरीज का निर्णायक मैच बन जाएगा—और यशस्वी के लिए एक नया अवसर।